एक आईना भारत
पाली सिटी,
भेड़ निष्क्रमण के दौरान कोरोना महामारी को देखते हुए विशेष व्यवस्थाएं करने के निर्देश
जून। पाली सिटी,जिले में इस वर्ष भेड़ निष्क्रमण के दौरान कोरोना महामारी को देखते हुए विशेष व्यवस्थाएं करने के निर्देश दिए गए हैं। संबंध में मुख्य सचिव श्री निरंजन आर्य की ओर से दिए गए दिशानिर्देशों के अनुरूप जिले के एंट्री प्वाइंट्स पर भेड़ पालकों की स्क्रीनिंग के साथ-साथ कोरोना वैक्सीनेशन की व्यवस्था चिकित्सा एवं स्वास्थ्य विभाग के सहयोग से करने को कहा है। उन्होंने कहा कि पशुपालकों के मोबाइल नम्बरों के आधार पर आईटी विभाग द्वारा उनकी लाइव लोकेशन ट्रेकिंग की व्यवस्था भी की जाए। साथ ही जन आधार के जरिये निष्क्रमण के दौरान भी इन्हें राशन तथा राज्य सरकार की अन्य जनकल्याणकारी योजनाओं का लाभ निर्बाध मिलने की व्यवस्था सुनिश्चित करें।
उन्होंने कहा कि हर साल की तरह ही इस साल भी भेड़ निष्क्रमण को निर्बाध तरीके से संचालित करने के लिए जिला प्रशासन तथा संबंधित विभाग आपसी समन्वय के साथ सभी आवश्यक व्यवस्थाएं पूर्ण करना सुनिश्चित करें। उन्होंने कहा कि कई बार पशुपालकों की भेड़ें उनके रास्ते में पड़ने वाले किसानों के खेतों में घुस जाती हैं, जिससे उनमें और भेड़ पालकों में टकराव की स्थिति उत्पन्न हो जाती है। इस स्थिति से बचने के लिए पुलिस विभाग तथा जिला प्रशासन प्रोएक्टिव होकर काम करें। भेड़पालकों द्वारा निष्क्रमण के लिए निर्धारित मार्ग से ही गुजरना सुनिश्चित करें। इसके अलावा मार्ग में फेरबदल की स्थिति में यथोचित कार्यवाही तथा निष्क्रमण के दौरान कानून व्यवस्था सुनिश्चित करें। उन्होंने कहा कि विभाग द्वारा निष्क्रमण के एन्ट्री प्वाइंट चिन्ह्ति करते हुए स्थाई एवं अस्थाई चैकपोस्टों की स्थापना, कार्मिकों की नियुक्ति का काम शीघ्र पूरा किया जाए। कोरोना महामारी के मद्देनजर इस बार भेड़ों के निष्क्रमण के दौरान भेड़ पालकों के मास्क पहनने और सामाजिक दूरी का पालन करने पर विशेष ध्यान दिया जाए। विभाग के स्तर पर भेड़ों की दवा, ठहराव आदि की व्यवस्था का भी पुख्ता इंतजाम रखा जाए।
उन्होंने बताया कि प्रतिवर्ष लाखों की संख्या में भेड़ें तथा हजारों की संख्या में भेड़पालक राज्यों तथा विभिन्न जिलों से चारे की उपलब्धता के लिए एक स्थान से दूसरे स्थान पर निष्क्रमण करते हैं। राज्य में इनके निर्बाध निष्क्रमण के लिए कुल 191 चैक पोस्ट बनाए जाते हैं। इन चैकपोस्टों पर पशुओं के लिए वैक्सीन तथा समुचित दवाइयां उपलब्ध करवाई जाती हैं। वर्षाकाल शुरू होते ही भेड़ पालक बड़ी संख्या में राज्य के पठारी जिलों में आना प्रारम्भ कर देते हैं। इस बार भी बड़ी संख्या में भेड़ों तथा पशुपालकों के राज्य में निष्क्रमण की संभावना है, जिसके लिए विभाग द्वारा सभी व्यवस्थाएं सुनिश्चित की जाएं।
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