एक आईना भारत
पाली सिटी,
केमिकल युक्त दूषित पानी की जांच के लिए नियमित सैम्पलिंग कर स्त्रौत का पता लगा कार्यवाही करने के निर्देश
पाली सिटी,अतिरिक्त जिला कलक्टर चन्द्रभानसिंह भाटी ने राष्ट्रीय हरित प्राधिकरण (एनजीटी) की और से दिए गए निर्देशों की पालना करने के लिए संबंधित विभागों के अधिकारियों को गंभीरता बरतने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि प्रदूषण के मसले पर एनजीटी के दिशा निर्देश स्पष्ट है। ऐसे में इन निर्देशों की किसी भी सूरत में पालना करवाई जानी आवश्यक है।
अतिरिक्त जिला कलक्टर भाटी सोमवार को एनजीटी की और से दिए गए निर्देशों की समीक्षा बैठक ले रहे थे। उन्होंने सभी संबंधित विभागीय अधिकारियों से एनजीटी के निर्देशों की पालना रिपोर्ट प्रस्तुत करने को कहा। बैठक में अतिरिक्त जिला कलक्टर ने विभिन्न विभागीय अधिकारियों से उनके विभागों में की जा रही कार्यवाही की जानकारी ली। उन्होंने कहा कि रिहायसी क्षेत्र में संचालित अवैध औद्योगिक इकाईयां के खिलाफ नगर परिषद सख्ती से कार्यवाही करे।
समीक्षा बैठक में सीईटीपी के पदाधिकारियों से जेडएलडी प्लांट की प्रगति की जानकारी लेते हुए निर्धारित समयावधि में कार्यवाही करने को कहा। प्रदूषित पानी को निर्धारित मानकों पर उपचारित किया जाए। उन्होंने परिवहन अधिकारी से नियमित पानी के टैंकरों की जांच करने तथा अवैध टैंकर परिवहन की रोकथाम के लिए सघन जांच करने को कहा। टैंकरों से पानी के सैम्पल लिए जाए एवं रिपोर्ट के आधार पर दोषी वाहन मालिक के विरूद्ध कार्यवाही करने के निर्देश दिए।
उन्होंने डिस्कॉम के अधीक्षण अभियंता से अवैध रूप से संचालित औधोगिक इकाईयों के काटे गए कनेक्शन की रिपोर्ट मांगी गई तथा बिना प्रशासनिक अनुमति के वापस कनेक्शन नहीं जोड़ने के दिशा निर्देश दिए। उन्होंने नगर परिषद आयुक्त को एसटीपी कनेक्शन बढ़ाने एवं एक हजार कनेक्शन प्रतिसप्ताह के लक्ष्य को अर्जित करने को कहा। केमिकल युक्त दूषित पानी की जांच के लिए नियमित सैम्पलिंग कर स्त्रौत का पता लगा कार्यवाही करने के निर्देश दिए। उन्होंने क्षेत्रीय प्रदूषण नियंत्रण मंडल के अधिकारियों को निर्धारित नियमों की पालना नहीं करने वाली औधोगिक इकाईयों के विरूद्ध सख्त कार्यवाही करने की हिदायत दी। उन्होंने विभिन्न स्तरों पर गठित दलों द्वारा नियमित रूप से जांच कर रिपोर्ट साप्ताहिक बैठक में पेश करने की भी हिदायत दी। अतिरिक्त जिला कलक्टर ने सीईटीपी के पदाधिकारियों से सीसीटीवी कैमरे, फलोमीटर, स्काडा सिस्टम, प्राईमरी ट्रीटमेंट आदि व्यवस्था की विस्तृत जानकारी ली। रीको द्वारा रोके हटाने के बाद सर्विलेंस टीमों द्वारा संघन निगरानी रखने एवं रीको के ड्रेनेज पर से अवैध निर्माण एवं अतिक्रमण हटाने के निर्देश दिए।
उन्होंने कहा कि बिना कंसेंट टू ऑपरेट पाली शहर समेत जिले में कोई भी औद्योगिक इकाई संचालित नहीं होनी चाहिए। जो औद्योगिक इकाईयां संचालित हो रही है उनमें से भी प्राईमरी ट्रीट करने के बाद ही पानी छोड़ा जाना चाहिए। इसके लिए टीमें बनाई गई है जो निरंतर औद्योगिक क्षेत्रों में वॉल की जांच कर सीईटीपी में लिए जा रहे पानी की जांच कर रही है। उन्होंने कहा कि जिन औद्योगिक इकाईयों में रोस्टर प्रणाली लागू की है उसका पालन नहीं करने वाली इकाईयों के खिलाफ कार्यवाही की जाए। प्रदूषित पानी को निर्धारित मानक पर उपचारित किया जाए। उन्होंने कहा कि शहर में बिछाई गई सीवरेज से एसटीपी तक पहुंचने वाले पानी की मात्रा काफी कम है, इस कारण सिटी सीवरेज का पानी ट्रीट कर उद्योगों को देने की रफ्तार भी काफी कम है। उन्होंने सीवरेज योजना से जु़ड़े अधिकारियों को हाउस कनेक्शन करने की रफ्तार बढ़ाने को कहा। बैठक में प्रदूषण नियंत्रण मण्डल के अधिकारियों ने औद्योगिक इकाईयों में प्रदूषण रोकने के लिए अब तक की गई प्रगति का ब्योरा दिया। उन्होंने बताया कि सभी औद्योगिक इकाईयों का स्काडा सिस्टम से जोड़ा जा चुका है और उनमें फ्लोमीटर, सीईटीपी इनलेट व ऑउटलेट पर पूरी मॉनिटरिंग की जा रही है।
बैठक में उपखण्ड अधिकारी देशलदान, परिवहन अधिकारी राजेन्द्र दवे, प्रदूषण नियंत्रण मण्डल के क्षेत्रीय अधिकारी राहुल शर्मा, नगर परिषद आयुक्त बृजेश रॉय समेत विभिन्न विभागों के अधिकारी-कर्मचारी मौजूद रहे।
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